साथी पत्रकार की रिपोर्ट में दम :*मुख्यमंत्री की स्थानन्तरण नीति यहां लागू नही?* *कलेक्ट्रेट,तहसील में जमे है वर्षो से कर्मचारी, भ्रष्टाचार में आकंठ डूबे है आरोपित कर्मचारी, समन्वित शिकायत निवारण प्रणाली को शिकायत।* *धीरज श्रीवास्तव* रायबरेली। सिस्टम जातीय गणित के बल पर सरकारी नौकरी के नाम पर गिरोह बनाकर नियमो की धज्जिया उड़ाने में जनपद की सदर तहसील और कलेक्ट्रेट रायबरेली का उत्तरप्रदेश का कोई अन्य जनपद मुकाबला नही कर सकता, एक ही स्थान, एक ही पद पर वर्षो से जमे ये कर्मचारी सेवा नियमावली को ताख पर रखकर सरकारी नौकरी में भ्रष्टाचार व अन्य व्यवसाय कर अकूत सम्पत्ति के स्वामी बन गए इनकी नामी बेनामी सम्पत्तियों के साथ रियल स्टेट में भारी भरकम रकम निवेश करने के साथ भूमाफियाओ के साथ उनके वैध अवैध कारोबार में हिस्सेदार ही नही है बल्कि सरकारी नजूल जमीनों को पचाने के माहिर खिलाड़ी के रूप में कुख्यात है। यह कर्मचारो हर बड़े अधिकारी, सत्ता व विपक्ष के नेताओ को साधकर तानाशाही के साथ अपनी कुर्सियों पर विराजमान है अब तक किसी प्रशानिक अधिकारी की निगाह उन तक नही पहुची जबकि शासन की स्थान्तरण नीति के अंतर्गत एक समय सीमा तक ही एक स्थान पर यह पदस्थ रह सकते है उसके बाद भी इन्हें उनके स्थान से स्थानन्तरित न करना उच्चाधिकारियों की मंशा पर प्रश्नचिन्ह लगाते है। पूरे प्रकरण में कलेक्ट्रेट कर्मियों ने आयुक्त राजस्व परिषद व अधिवक्ता संतोष बहादुर सिंह ने समन्वित शिकायत निवारण प्रणाली को शिकायत दर्ज कराते हुए कार्यवाही की मांग की है। *मामला नम्बर एक*-कलेक्ट्रेट के प्रशासनिक अधिकारी अवधेश शर्मा पिछले पांच वर्षों से यही जमे हुए है लगभग पूरी नौकरी कलेक्ट्रेट में करने वाले शर्मा अधिकारियों के चहेते है, इनकी प्रोन्नति और गैर जनपद स्थानन्तरण होने के बाद भी रिलीव नही किया जा रहा है, यह कनिष्ठ को वरिष्ठ और वरिष्ठ को कनिष्ठ पदो पर तैनाती देने के माहिर खिलाड़ी है, अधिकारियों की दया दृष्टि इन पर बनी हुई है। *मामला नम्बर दो*-उप जिलाधिकारी सदर के पेशकार दीपेंद्र सिंह की कार्यशैली किसी से छिपी नही है किस ताकत के बल पर यह कुर्सी से चिपककर व्यवस्था को निजी व गिरोह के हित में उपयोग कर रहे हर कोई जानता है, भू सम्बन्धी मामलों में क्या निर्णय होना, कैसे होना, किस भूमि से उसके असली स्वामी को बेदखल करना है कोई इनसे सिख सकता है, सलोन तहसील में कार्यरत पेशकार गंगाधर मंडल के स्थानन्तरण में बड़ी वसूली की गई उनके स्थानन्तरण की पत्रावली लगभग तैयार है इस तरह के खेलों की भरमार है । वही एसडीएम के पेशकार इस्तियाक अहमद कई वर्षों जमे है। *मामला नम्बर तीन*-शहर में भूमाफियाओं के साझीदार नजूल भूमि पर कब्जा कराने के बड़े खेलो के सबसे बदनाम खिलाड़ी सुरेंद्र कुमार शुक्ला जो मंटू शुक्ला या भूमाफि याओं में मंटू भैया के नाम से चर्चित पेशकार विगत बीस वर्षों से सदर तहसीलदार के पेशकार के रूप में तैनात है इनको भी कभी हटाने की नही सोची गयी विवादित भूमियों व भूमाफियाओं के मददगार के रूप में इनका बड़ा बलशाली संजाल शहर में फैला हुआ मुख्यमंत्री की स्थानन्तरण नीति के अंतर्गत इनकी तैनाती भी सवालों के घेरे में है। *मामला नम्बर चार*-महेंद्र तिवारी भूलेख कार्यालय में पिछले बीस वर्षों से तैनात है यही नही उन्हें लोकवाणी का चार्ज भी मिला हुआ है, लोकवाणी में जनता से प्राप्त शुल्क विभिन्न विभागों में खर्च किये जाने का नियम है विगत पांच वर्षों के धन का कोई हिसाब न होने का आरोप लगता रहा है, इसके बाद भी कोई कार्यवाही अब तक नही हुई शासन की स्थानन्तरण नीति के अंतर्गत इनके स्थानन्तरण का किसी अधिकारी ने अब तक संज्ञान नही लिया जबकि इन पर कई गम्भीर आरोप लगते रहे है। कलेक्ट्रेट व सदर तहसील को भ्रष्टाचार व बेलगाम मनमानी के बल पर चला रहे यह कर्मचारी घुन की तरह व्यवस्था को वर्षो से चौपट कर रहे है। अधिवक्ता संतोष बहादुर सिंह व नाम न छापने की शर्त पर दर्जनों कर्मचारियों ने कहा कि पैसों का बड़ा खेल करने वाले यह लोग हर मामले में वसूली करते है, गिरोह बनाकर नियमो की धज्जिया उड़ाना मनमानी करना इनकी नौकरी का भाग बन चुका है मुख्यमंत्री की स्थानन्तरण नीति का भी प्रभाव अब तक इन नही पड़ा तो समझा जा सकता है कि यह सब कितने शक्तिशाली व पहुँच वाले है।


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दिव्य ओझा उप जिला मजिस्ट्रेट बनी: दिव्या ओझा बनी "आईएएस" को उप जिलाधिकारी रायबरेली के पद पर योगी आदित्यनाथ सरकार ने नियुक्त कर एक नई दिशा दी है। "माहे रमज़ान मुबारक महीने के नवे रोज़े की तहेदिल से मुबारकबाद" 'घरों में इबाबत करें जो आप और मुल्क व अवाम के लिए बेहतर है' आज का दिन "मृत्यु लोक के ईस्वर स्वरूप" चिकित्सको व उनके स्टाफ़ एवं पुलिस कर्मियों,सफाई कर्मी व *लॉक डाउन* में डियूटी पर मुस्तेद कर्मचारियों के नाम......! "17 मई 2020 तक "लॉक डाउन" तथा तीनो *गाईड लाइन* 1- रेड जोन के जिले 2-ऑरेंज जोन 3-ग्रीन जोन : का पालन देश प्रदेश वासी अपने घरों में शांतिपूर्ण नियम से कर सुरक्षित रहे और दूसरों को भी रहने की सलाह दे । ताकि *कोरोना महामारी* की जंग में विजय प्राप्ती हो। जय हिन्द जय भारत.....! कृत्य:नायाब टाइम्स *हार्दिक शुभकामनाओ के साथ बधाई*
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मुत्यु लोक का सच:*आचार्य रजनीश* (१) जब मेरी मृत्यु होगी तो आप मेरे रिश्तेदारों से मिलने आएंगे और मुझे पता भी नहीं चलेगा, तो अभी आ जाओ ना मुझ से मिलने। (२) जब मेरी मृत्यु होगी, तो आप मेरे सारे गुनाह माफ कर देंगे, जिसका मुझे पता भी नहीं चलेगा, तो आज ही माफ कर दो ना। (३) जब मेरी मृत्यु होगी, तो आप मेरी कद्र करेंगे और मेरे बारे में अच्छी बातें कहेंगे, जिसे मैं नहीं सुन सकूँगा, तो अभी कहे दो ना। (४) जब मेरी मृत्यु होगी, तो आपको लगेगा कि इस इन्सान के साथ और वक़्त बिताया होता तो अच्छा होता, तो आज ही आओ ना। इसीलिए कहता हूं कि इन्तजार मत करो, इन्तजार करने में कभी कभी बहुत देर हो जाती है। इस लिये मिलते रहो, माफ कर दो, या माफी माँग लो। *मन "ख्वाईशों" मे अटका रहा* *और* *जिन्दगी हमें "जी "कर चली गई.*
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अति दुःखद: *पूर्व विधायक आशा किशोर के पति का निधन* रायबरेली,सलोन विधान सभा के समाजवादी पार्टी की पूर्व विधायक आशा किशोर के पति श्याम किशोर की लंबी बीमारी के बाद लखनऊ के एक अस्पताल में निधन हो गया।इनकी उम्र लगभग 70 वर्ष की थी और पिछले कई दिनों से बीमार चल रहे थे। स्व श्याम किशोर अपने पीछे पत्नी आशा किशोर सहित भरा पूरा परिवार छोड़ गए है। श्याम किशोर की अंत्येष्टि पैतृक गांव सुखठा, दीन शाहगौरा में किया गया।इस अवसर पर सपा के वरिष्ठ नेता रामबहादुर यादव, विधायक डॉ मनोज कुमार पांडे, आरपी यादव, भाजपा सलोन विधायक दल बहादुर कोरी, राम सजीवन यादव, जगेश्वर यादव, राजेंद्र यादव,अखिलेश यादव राहुल निर्मल आदि ने पहुंचकर शोक संतृप्त परिवार को ढांढस बंधाया। कृत्य:नायाब टाइम्स
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*--1918 में पहली बार इस्तेमाल हुआ ''हिन्दू'' शब्द !--* *तुलसीदास(1511ई०-1623ई०)(सम्वत 1568वि०-1680वि०)ने रामचरित मानस मुगलकाल में लिखी,पर मुगलों की बुराई में एक भी चौपाई नहीं लिखी क्यों ?* *क्या उस समय हिन्दू मुसलमान का मामला नहीं था ?* *हाँ,उस समय हिंदू मुसलमान का मामला नहीं था क्योंकि उस समय हिन्दू नाम का कोई धर्म ही नहीं था।* *तो फिर उस समय कौनसा धर्म था ?* *उस समय ब्राह्मण धर्म था और ब्राह्मण मुगलों के साथ मिलजुल कर रहते थे,यहाँ तक कि आपस में रिश्तेदार बनकर भारत पर राज कर रहे थे,उस समय वर्ण व्यवस्था थी।तब कोई हिन्दू के नाम से नहीं जाति के नाम से पहचाना जाता था।वर्ण व्यवस्था में ब्राह्मण,क्षत्रिय,वैश्य से नीचे शूद्र था सभी अधिकार से वंचित,जिसका कार्य सिर्फ सेवा करना था,मतलब सीधे शब्दों में गुलाम था।* *तो फिर हिन्दू नाम का धर्म कब से आया ?* *ब्राह्मण धर्म का नया नाम हिन्दू तब आया जब वयस्क मताधिकार का मामला आया,जब इंग्लैंड में वयस्क मताधिकार का कानून लागू हुआ और इसको भारत में भी लागू करने की बात हुई।* *इसी पर ब्राह्मण तिलक बोला था,"क्या ये तेली, तम्बोली,कुणभठ संसद में जाकर हल चलायेंगे,तेल बेचेंगे ? इसलिए स्वराज इनका नहीं मेरा जन्म सिद्ध अधिकार है यानि ब्राह्मणों का। हिन्दू शब्द का प्रयोग पहली बार 1918 में इस्तेमाल किया गया।* *तो ब्राह्मण धर्म खतरे में क्यों पड़ा ?* *क्योंकि भारत में उस समय अँग्रेजों का राज था,वहाँ वयस्क मताधिकार लागू हुआ तो फिर भारत में तो होना ही था।* *ब्राह्मण की संख्या 3.5% हैं,अल्पसंख्यक हैं तो राज कैसे करेंगे ?* *ब्राह्मण धर्म के सारे ग्रंथ शूद्रों के विरोध में,मतलब हक-अधिकार छीनने के लिए,शूद्रों की मानसिकता बदलने के लिए षड़यंत्र का रूप दिया गया।* *आज का OBC ही ब्राह्मण धर्म का शूद्र है। SC (अनुसूचित जाति) के लोगों को तो अछूत घोषित करके वर्ण व्यवस्था से बाहर रखा गया था।* *ST (अनुसूचित जनजाति) के लोग तो जंगलों में थे उनसे ब्राह्मण धर्म को क्या खतरा ? ST को तो विदेशी आर्यों ने सिंधु घाटी सभ्यता संघर्ष के समय से ही जंगलों में जाकर रहने पर मजबूर किया उनको वनवासी कह दिया।* *ब्राह्मणों ने षड़यंत्र से हिन्दू शब्द का इस्तेमाल किया जिससे सबको को समानता का अहसास हो लेकिन ब्राह्मणों ने समाज में व्यवस्था ब्राह्मण धर्म की ही रखी।जिसमें जातियाँ हैं,ये जातियाँ ही ब्राह्मण धर्म का प्राण तत्व हैं, इनके बिना ब्राह्मण का वर्चस्व खत्म हो जायेगा।* *इसलिए तुलसीदास ने मुसलमानों के विरोध में नहीं शूद्रों के विरोध में शूद्रों को गुलाम बनाए रखने के लिए लिखा !* *"ढोल गंवार शूद्र पशु नारी।ये सब ताड़न के अधिकारी।।"* *अब जब मुगल चले गये,देश में OBC-SC के लोग ब्राह्मण धर्म के विरोध में ब्राह्मण धर्म के अन्याय अत्याचार से दुखी होकर इस्लाम अपना लिया था* *तो अब ब्राह्मण अगर मुसलमानों के विरोध में जाकर षड्यंत्र नहीं करेगा तो OBC,ST,SC के लोगों को प्रतिक्रिया से हिन्दू बनाकर,बहुसंख्यक लोगों का हिन्दू के नाम पर ध्रुवीकरण करके अल्पसंख्यक ब्राह्मण बहुसंख्यक बनकर राज कैसे करेगा ?* *52% OBC का भारत पर शासन होना चाहिये था क्योंकि OBC यहाँ पर अधिक तादात में है लेकिन यहीं वर्ग ब्राह्मण का सबसे बड़ा गुलाम भी है। यहीं इस धर्म का सुरक्षाबल बना हुआ है,यदि गलती से भी किसी ने ब्राह्मणवाद के खिलाफ आवाज़ उठाई तो यहीं OBC ब्राह्मणवाद को बचाने आ जाता है और वह आवाज़ हमेशा के लिये खामोश कर दी जाती है।* *यदि भारत में ब्राह्मण शासन व ब्राह्मण राज़ कायम है तो उसका जिम्मेदार केवल और केवल OBC है क्योंकि बिना OBC सपोर्ट के ब्राह्मण यहाँ कुछ नही कर सकता।* *OBC को यह मालूम ही नही कि उसका किस तरह ब्राह्मण उपयोग कर रहा है, साथ ही साथ ST-SC व अल्पसंख्यक लोगों में मूल इतिहास के प्रति अज्ञानता व उनके अन्दर समाया पाखण्ड अंधविश्वास भी कम जिम्मेदार नही है।* *ब्राह्मणों ने आज हिन्दू मुसलमान समस्या देश में इसलिये खड़ी की है कि तथाकथित हिन्दू (OBC,ST,SC) अपने ही धर्म परिवर्तित भाई मुसलमान,ईसाई से लड़ें,मरें क्योंकि दोनों ओर कोई भी मरे फायदा ब्राह्मणों को ही हैं।* *क्या कभी आपने सुना है कि किसी दंगे में कोई ब्राह्मण मरा हो ? जहर घोलनें वाले कभी जहर नहीं पीते हैं।*
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लखनऊ के जिला मजिस्ट्रेट: *अभिषेक प्रकाश (आईएएस) लखनऊ जिला मजिस्ट्रेट बने* लखनऊ,अवध जनपद लखनऊ के जिलाधिकारी अभिषेक प्रकाश (आईएएस) को उत्तर प्रदेश शासन ने नियुक्ति किया। नायाब टाइम्स परिवार तहेदिल से मुबारकबाद देता है। कृत्य:नायाब टाइम्स
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